राज्य में 13 नये एकलव्य विद्यालय में इस शिक्षा सत्र से पढ़ाई होगी- चंपई सोरेन
राँची। माननीय मंत्री अनुसूचित जनजाति, अनुसूचित जाति, अल्पसंख्यक एवं पिछड़ा वर्ग कल्याण विभाग श्री चंपाई सोरेन ने कहा कि बिना शिक्षा के विकास नहीं हो सकता। झारखण्ड खनिज, पहाड, जंगल से भरा राज्य है। यहां के हर परिवार के बच्चे को अच्छी शिक्षा प्राप्त हो सके, इस हेतु विभाग कृतसंकल्पित है। उन्होंने कहा कि जनजातीय समुदाय, अनुसूचित जाति और पिछड़े वर्ग के सुदूर ग्रामीण इलाकों में रहने वाले परिवारों के बच्चों को अच्छी शिक्षा प्राप्त हो सके इसे ध्यान में रखते हुए विभाग द्वारा राज्य में पहले से चल रहे 07 एकलव्य विद्यालयों के अलावा इस वर्ष से 13 नए एकलव्य विद्यालय खोले जा रहे हैं। माननीय मंत्री आज अपने मोरहाबादी स्थित आवास पर एकलव्य और आवासीय विद्यालयों के शैक्षणिक सत्र 2020-21 के लिए चयन परीक्षा के परिणाम की घोषणा कर रहे थे।
81 आवासीय विद्यालयों के कुल 4,500 रिक्तियों के विरूद्ध 85,525 विद्यार्थियों ने प्रतियोगिता परीक्षा में लिया भाग
माननीय मंत्री ने कहा कि विभाग द्वारा 143 आवासीय विद्यालय चलाने का कार्य किया जा रहा है। इन विद्यालयों में से 81 विद्यालयों के कक्षा 6, 7 एवं 8 के कुल 4,500 रिक्तियों के विरूद्ध नामंकन हेतु विभाग द्वारा प्रतियोगिता परीक्षा आयोजित की गई, जिसमें राज्य के 85,525 विद्यार्थियों ने भाग लिया। इस प्रतियोगिता परीक्षा में उतीर्ण विद्यार्थी जिला कल्याण कार्यालय से अपना परिणाम प्राप्त कर सकते हैं। जिन विद्यार्थियों का जिस विद्यालय में चयन किया गया है उन्हें विद्यालय द्वारा कॉल कर नामांकन हेतु संपर्क किया जायेगा।
प्रतियोगिता परीक्षाओं में आवासीय विद्यालय के छात्र-छात्राओं ने राज्य का नाम किया रौशन
माननीय मंत्री ने कहा कि इस प्रतियोगिता परीक्षा में जनजातीय समुदाय, अनुसूचित जाति और पिछड़े वर्ग के सुदूर ग्रामीण इलाकों में रहने वाले परिवारों के बच्चों को प्राथमिकता दी गई जिनसे उनको गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्राप्त हो सके। उन्होंने कहा कि विभाग द्वारा राज्य में शिक्षा और आवासीय व्यवस्था का सुदृढ़ीकरण किया जा रहा है। राज्य के अनुसूचित जनजाति, अनुसूचित जाति, अल्पसंख्यक एवं पिछड़ा वर्ग को अच्छी शिक्षा देने के लिए हम कृत संकल्पित है। उन्होंने कहा कि बहुत सारी प्रतियोगिता परीक्षाओं में आवासीय विद्यालय के छात्र-छात्राओं ने राज्य का नाम रौशन किया है। माध्यमिक परीक्षा 2018-19 में 1906 छात्र-छात्राएं सम्मिलित हुए थे, जिसमें 90% छात्र-छात्राओं ने परीक्षा में सफलता प्राप्त की। जिसमें 70% छात्र-छात्रा प्रथम श्रेणी से उतीर्ण हुए वहीं 30% से अधिक छात्र-छात्राओं ने 75% से अधिक अंक प्राप्त किया। 22 आवासीय विद्यालयों का उतीर्णता प्रतिशत 100% रहा है।
उपस्थिति
इस अवसर पर आदिवासी कल्याण आयुक्त श्री शिशिर कुमार सिन्हा, संयुक्त सचिव श्री अजय नाथ झा, विशेष कार्य पदाधिकारी श्री सी.के. सिंह, मंत्री के विशेष कार्य पदाधिकारी श्री प्रेम लाल मेहरा, आप्त सचिव श्री गुरु प्रसाद महतो एवं निजी सहायक श्री चंचल गोस्वामी उपस्थित थे।
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