श्रीमद् भागवत के तीसरे दिन की कथा

श्रीमद् भागवत के तीसरे दिन की कथा







नॉर्थ लक्ष्मीनगर पिस्कामोड़ मे चल रहे 5 दिवसीय मधुर संगीतमय श्रीमद् भागवत कथा के तीसरे दिन कथा वाचक श्री अचिंत्य चक्र दास जी ने श्रद्धालुओं को कथा सुनाते हुए कहा सुदामा जी की पत्नी सुशीला जी ने सुदामा जी को भगवान द्वारकाधीश जी से मिलने की प्रेरणा दी एवं कहा वे आपके प्रिय मित्र हैं आप उनसे उपहार के साथ मिलें।इस बात को सुनकर सुदामा जी अति प्रसन्न हुए और वे सांदीपुनी मुनि आश्रम के 64 दिनों की दोस्ती को याद करते हुए श्रीकृष्ण जी से मिलने द्वारीका चले गए। इसी प्रसंग पर तीसरे दिन विस्तृत रूप से कथा सुनाई और आज चौथे दिन सुदामा जी चावल की पोटली लेकर नंगे पांव,फटी धोती लपटे, दुख सहन कर अपने मित्र भगवान द्वारकाधीश से मिलते हैं, यह दशा देख भगवान बहुत दुखी हुए इसी प्रसंग पर आज चौथे दिन श्री मान अंचित्य चक्र दास जी कथा सुना रहे हैं। आज के कथा में मुख्य रूप से अतिथि स्वरूप निफ्ट के प्रोफ़ेसर डीन कमलेश सिंह, विश्वकर्मा समाज के संतोष कुमार, दिलीप कुमार शर्मा शामिल हुए। आज के कार्यक्रम को सफल बनाने में मुख्यरूप से रामजतन शर्मा, श्रीराम शर्मा, शिव किशोर शर्मा,रामरतन शर्मा,रंजन कुमारअग्रवाल,आशीष पाठक,पंकज सिन्हा,आदि भक्तजनों ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

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